CHANDER
आज, अभी इस क्षण
बहुत उदास है मन
जैसे हृदय पर कोई
मार रहा हो घन
कहाँ गई वो रूपा
जिसका नाम गगन
छूट गया सब पीछे
हार गया हूँ रण
पर अब भी बाक़ी है
दुनिया में जीवन
(1998)
CHANDER
आज, अभी इस क्षण
बहुत उदास है मन
जैसे हृदय पर कोई
मार रहा हो घन
कहाँ गई वो रूपा
जिसका नाम गगन
छूट गया सब पीछे
हार गया हूँ रण
पर अब भी बाक़ी है
दुनिया में जीवन
(1998)